आंटी सास की गांड का उद्घाटन | Saas Ki Chudai Ki Kahani

हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम राकेश है, में गुजरात का रहने वाला हूँ, यह मेरी रियल स्टोरी है। ये बात उन दिनों की है, जब में 20 साल का था और जब साइन्स कॉलेज में पढ़ता था। उन दिनों मेरा लंड बहुत उठता था। तब में किसी ना किसी को चोदने के मौके में रहता था।

मेरे पड़ोस में एक आंटी रहती थी, जिसका नाम सरला था और उसकी खूबसूरती उसके बदन से साफ़-साफ़ झलकती थी, मानो कि सेक्स की देवी आपके सामने खड़ी हो। मुझे हर दम लगता था कि वो ही है जो मेरी सेक्स की प्यास बुझा सकती है और हाँ उनके एक लड़की भी है, वो दोनों घर में अकेले ही रहती थी। अब आप सोच रहे होंगे कि उनके पति कहाँ गये?

वो एक ट्रक ड्राइवर है और महीने-महीने घर नहीं आते है। अब में आपको उनके घर के बारे में बताता हूँ। उनका घर मेरे घर के बाजू में है और मेरे बेडरूम को ही लगकर ही उनका बाथरूम है, जो कच्ची ईटों का है और उनके घर के पीछे है।

फिर एक दिन दोपहर का वक़्त था, में अपने बेड पर सो रहा था, तो तभी आंटी शक्कर मांगने के लिए आई, जब घर में कोई ना होने की वजह से वो सीधी मेरे बेडरूम में आकर मेरे बेड पर बैठ गई थी

और मेरे बालों के ऊपर से अपना हाथ घुमाने लगी थी। तो तभी मैंने अपनी आँखें खोली तो मैनें देखा कि उनकी गांड मेरे मुँह के सामने थी तो मैंने धीरे से उनकी गांड को चूम लिया और उन्हें पता भी नहीं चला। फिर मैंने बिस्तर से उठकर उन्हें शक्कर दी, तो तब उन्होंने मेरे गाल पर किस करके थैंक यू कहा और अपने घर चली गई, तो मेरे लंड ने भी अंदर ही अंदर उनको सलामी कर दी। फिर उस रात को मैंने एक प्लान बनाया और दूसरे दिन प्लान के मुताबिक मैंने उसके बाथरूम की एक ईट निकाल दी। फिर जैसे ही वो नहाने अंदर गई, तो मैंने अपनी आँखें उस छेद पर चिपका दी।                


अब वो धीरे-धीरे अपने एक-एक कपड़े उतार रही थी, अब वो ब्रा और पेंटी में ही खड़ी थी। अब उसके वो बूब्स देखकर तो मेरा लंड खड़ा हो गया था। फिर उसके बाद जो हुआ उसको देखकर तो में दंग रह गया था। फिर वो अपनी ब्रा खोलकर अपने दोनों हाथों से अपने बूब्स को दबाने लगी और आहें भरने लगी आआहह, उउउहह और फिर उसने अपनी पेंटी को निकाल फेंका। में बता नहीं सकता मेरा हाल क्या हो रहा था? मान लो किसी भूखे शेर को अपना शिकार दिख गया

हो ऐसी हालत मेरे लंड की हो रही थी। फिर उसने अपने एक हाथ की 2 उंगलियाँ अपनी चूत में डाल दी और अंदर बाहर करने लगी और अपने एक हाथ से अपने बूब्स दबाती रही। अब इस नज़ारे को देखकर मुझे ऐसा लग रहा था कि शायद उसने भी बहुत दिनों से सेक्स नहीं किया होगा, तो तभी मैंने सोच लिया कि में आंटी की मदद जरूर करूँगा।

अब उसी दिन रात को काफ़ी बादल गरज रहे थे और बिजलियाँ गिर रही थी और हल्की सी बारिश हो रही थी इसलिए वो डर गई थी और उसने मुझे अपने घर में सोने के लिए बुलाया था। अब में अंदर से बहुत खुश हो गया था और अपने घर से इजाजत लेकर आंटी के घर पर सोने चला गया। अब आंटी मूवी देख रही थी, तो में भी कुर्सी पर बैठकर मूवी देखने लगा। तो उसी वक़्त उनकी 2 साल की बेटी रोने लगी, तो आंटी उसको गोद में लेकर उसे दूध पिलाने लगी। तो जैसे ही उन्होंने अपना बूब्स बाहर निकाला, तो में उसे देखता ही रह गया। फिर जैसे ही उसने ऊपर देखा, तो में मूवी देखने का नाटक करने लगा।            

फिर थोड़ी देर के बाद उसने अपनी बेटी को सुला दिया और एक गोली खा ली। फिर मैंने जब उससे पूछा था, तो उन्होंने कहा कि ये नींद की गोली है इसके बिना मुझे नींद नहीं आती है और फिर वो दोनों बेड पर सो गई और में सोफे पर लेट गया।

फिर मैंने देखा कि वो गहरी नींद में सो रही थी, लेकिन मुझे नींद कहाँ आ रही थी? अब मेरे सामने तो वो बाथरूम वाली सरला ही घूम रही थी। फिर मैंने काफ़ी हिम्मत जुटाई और उसके बाजू में जाकर बैठ गया। फिर मैंने थोड़ी हिम्मत करके उसके ब्लाउज के ऊपर से उसके बूब्स को सहलाया, लेकिन उसका कोई रिप्लाई नहीं था। अब में बिंदास हो गया था और धीरे से उसकी नाभि को चूमने लगा था और अपने एक हाथ से उसकी साड़ी ऊपर करके उसकी मोटी-मोटी जांघो को सहलाने लगा था और चूमने भी लगा था। फिर मैंने अपना एक हाथ उसकी पेंटी में डाल दिया और उसे नीचे कर दिया। अब मेरे सामने वही चूत थी जो आज सुबह में 2 फुट दूरी से देख रहा था। फिर में उसकी चूत को चाटने लगा, उसका टेस्ट कमाल का था।            

फिर मैंने अपनी दोनों उंगलियाँ उसकी चूत में डाल दी और अंदर बाहर करने लगा और अपने एक हाथ से उसके ब्लाउज के बटन खोलकर उसके बूब्स दबाने लगा। फिर यह सब 10 मिनट तक ऐसे ही चलता रहा, तो तभी मुझे ऐसा लगा कि वो जागने वाली है, तो में तुरंत सोफे पर जाकर सो गया। फिर जब सुबह में जागा, तो उसने मेरे बालों पर से अपना हाथ घुमाकर एक हल्की सी स्माइल दी। तो में कुछ समझ नहीं पाया कि इसका मतलब क्या था? अब में अपने घर आकर सोचने लगा था कि शायद उसको ये बात पता तो नहीं चली कि कल रात को में उसके साथ सेक्स कर रहा था,

उसकी वो स्माइल इस बात की गवाही दे रही थी कि वो भी मुझसे चुदवाना चाहती है, तो इस कारण मेरी हिम्मत और बढ़ गई थी। अब मैंने भी सोच लिया था कि आज रात को में उसकी जमकर चुदाई करूँगा, अब तो में सिर्फ़ रात होने का इंतजार कर रहा था। अब रोज की तरह में आज भी आंटी के घर पर सोने गया, तो वो टी.वी देख रही थी। फिर में भी उसके बाजू में बैठकर टी.वी देखने लगा। अब उसकी बेटी सो रही थी, तब करीब रात के 11 बज रहे थे और बारिश भी जोरो से चालू थी।


फिर अचानक से एक बिजली चमकी और वो डर के मारे मुझसे लिपट गई। फिर हम वापस से टी.वी देखने लगे, तो उसने मुझसे कहा कि विक्की कल रात को मेरे ब्लाउज के बटन तुमने ही खोले थे ना? तो मैंने कहा कि हाँ आंटी मैंने ही खोले थे और में जानता हूँ कि आप भी सेक्स की भूखी हो, प्लीज़ आंटी आप मुझसे चुदवा लो। तो ये कहते ही उसने मुझे एक ज़ोरदार लिप किस किया और फिर करीब 5 मिनट तक वो मेरे होंठो को चूसती रही।                          

फिर उसने मुझसे कहा कि मुझे सिर्फ़ सरला कहो और मुझे धक्का देकर बेड पर गिरा दिया और मेरी शर्ट को निकालकर मेरी छाती को चूमने लगी। अब वो चूमते- चूमते मेरी पेंट के ऊपर से ही मेरे लंड को चूमने लगी थी। अब में बहुत उत्तेजित होने लगा था। फिर मैंने आंटी से कहा कि क्या आप मेरे लंड के दर्शन नहीं करना चाहेगी? तो वो शर्मा गई, तो मैंने अपनी पेंट उतार दी। अब वो मेरा तना हुआ लंड देखकर हैरान हो गई थी और कहने लगी कि इतना बड़ा लंड तो मेरे पति का भी नहीं है और ये कहकर वो मेरे लंड को ज़ोर-ज़ोर से हिलाने लगी और चूसने लगी।

 

अब में पूरा नंगा हो गया था, लेकिन वो अभी भी पूरे कपड़ो में थी, तो मैंने उसकी साड़ी निकाल फेंकी और उसकी पीठ के पीछे से उसके बूब्स दबाने लगा और उसका ब्लाउज भी उतारकर फेंक दिया और उसको बेड पर उल्टा लेटा दिया और में उसके ऊपर चढ़ गया और उसकी पीठ को चूमने लगा।                                    

अब मेरा लंड उसके पेटीकोट में छेद करके उसकी गांड में घुसने की कोशिश कर रहा था। फिर मैंने ज़रा सी भी देर ना करते हुए उसका पेटीकोट निकाल फेंका, वो पिंक कलर की पेंटी और ब्लेक कलर की ब्रा पहने हुई थी। अब मुझे मेरे लंड को रोकना मुश्किल हो गया था। अब में उसे पागलों की तरह चूमने लगा था। अब वो मदहोश हो रही थी, अब में उसे नंगी देखना चाहता था। फिर मैंने उसके दोनों बूब्स के बीच में अपना हाथ डाला और उसकी ब्रा खींचकर फेंक दी और साथ में उसकी पेंटी भी फाड़कर फेंक दी और उसकी चूत को चूमने लगा।

अब वो बहुत गर्म हो चुकी थी और उसकी चूत भी पूरी तरह से गीली हो चुकी थी। अब वो मेरे बालों के ऊपर से अपना हाथ घुमाकर बोल रही थी अब देर मत करो, में तुम्हारी रंडी बनने के लिए बेताब हो रही हूँ मेरे विक्की। फिर ये सुनते ही मेरा लंड आसमान की तरफ देखने लगा तो में अपने लंड को उसकी गांड पर रखकर रगड़ने लगा। तो वो बोली विक्की आज तक मेरी गांड किसी ने नहीं मारी है तुम ही इसका उद्घाटन कर दो और इसे फाड़कर रख दो।

फिर ये सुनकर हम डॉगी शॉट की पॉज़ीशन में आ गये और में उसकी जमकर गांड मारने लगा। अब करीब 15 मिनट तक लगातार उसकी गांड मारने के बाद उसकी गांड पूरी तरह से लाल हो चुकी थी और वो पागलों की तरह चिल्लाने लगी आहह, आहह उई माँ में मर गई, फाड़ दी मेरी गांड, अब निकाल दो इसे। फिर मैंने कहा कि बस थोड़ी देर रुक जाओ, अब में झड़ने ही वाला हूँ। तो ये कहते ही उसने मेरा लंड अपने मुँह मे ले लिया और मेरा सारा का सारा रस पी गई। अब हम दोनों एक-एक बार झड़ चुके थे और अब हम दोनों ही बेड पर लेटे हुए थे।                                             

फिर उसी वक़्त में अपना एक हाथ उसके बूब्स पर रखकर उसे मसलने लगा और उससे बोला कि सरला मुझे तुम्हारे आम चूसने है। तो वो बोली कि चूसो मेरे राजा, ये तुम्हारे ही तो है। फिर में उसे मदहोश होकर चूसने लगा, तो वो बोली कि इस तरह से मेरे बूब्स आज तक किसी ने नहीं चूसे, तुमने तो मुझे जन्नत का मज़ा दे दिया। फिर मैंने कहा कि अभी तो जन्नत का मज़ा बाकी है। फिर तभी उसके बूब्स में से दूध बाहर आने लगा था, तो मैंने सरला से बोला कि इस दूध का क्या करूँ? तो वो बोली कि इस दूध को अपने लंड पर लगाकर अपने लंड को चिकना कर दो और मेरी चूत में घुसा दो। फिर हम दोनों 69 की पोज़िशन में आ गये, अब में उसकी चूत को अपनी जीभ से चोदने की कोशिश करने लगा था और वो भी मेरे लंड को चूसने लगी थी। अब उसकी चूत पूरी तरह से गीली हो चुकी थी।

फिर मैंने उसे बेड के ऊपर लेटा दिया और उसकी दोनों टांगो को अपने कंधे के ऊपर रख दिया और अपना लंड उसकी चूत में डाल दिया। फिर जब मेरा 8 इंच का लंड उसकी चूत में चला गया, तो वो चिल्लाने लगी उउऊईई माँ में मर गई। फिर करीब 20 मिनट की चुदाई के बाद में झड़ गया और वो भी 2 बार झड़ चुकी थी। अब वो बोल रही थी कि विक्की आज तुमने तो मुझे सच में जन्नत का मज़ा दिया है। में तुम्हारा यह एहसान कभी नहीं भूलूँगी और फिर हम दोनों सो गये।                

फिर में सुबह करीब 8 बजे उठा तो वो चाय बना रही थी। फिर में उठकर किचन में चला गया। वो गाउन में थी, तो मैंने उसका गाउन ऊपर करके अपना लंड उसकी गांड में डाल दिया और अपना एक हाथ उसकी चूत में डाल दिया और फिर इस तरह से मैंने उसकी एक बार फिर से चुदाई की। अब हमें जब भी ऐसा कोई मौका मिलता है तो हम उसका पूरा फायदा उठाते है और खूब मजा करते है ।

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